नई दिल्ली। कूनो नेशनल पार्क में दक्षिण अफ्रीका से लाए गए चीतों में से मंगलवार को एक मादा चीता धीरा की मौत हो गयी। खबरों की मानें तो आपसी संघर्ष में मादा चीता की मौत हुई है। बताया जाता है कि दक्षिण अफ्रीका से आए चीता धारा का कूनो राष्ट्रीय उद्यान के अंदर एक अन्य चीता से लड़ाई हो गई थी, जिसमें उसकी जान चली गई है। मध्य प्रदेश के कूनो राष्ट्रीय उद्यान (केएनपी) में अप्रैल के महीने में दक्षिण अफ्रीकी चीता उदय की मौत हृदय एवं फेफड़ों के काम बंद करने के कारण हुई। नर चीता उदय का पोस्टमॉर्टम करने वाले पशु चिकित्सकों की जांच के अनुसार उसकी मौत हृदय एवं फेफड़ों के काम बंद करने के कारण हुई। चीता के फेफड़ों और दिल पर बीमारी से संबंधित धब्बे मिले हैं। उन्होंने बताया कि उन्हें आशंका है कि एक हिरण का शिकार करने के बाद चीता काफी थक गया जो‘कार्डियो पल्मनेरी फेलियर’ की वजहों में से एक है। गौरतलब है कि केएनपी में करीब एक महीने में इस तरह की यह तीसरी घटना हुई। इससे पहले नामीबिया से केएनपी में लाये गये आठ चीतों में से साशा नाम के चीते की 27 मार्च को गुर्दे की बीमारी के कारण मौत हो गई थी। इस प्रकार नामीबिया एवं दक्षिण अफ्रीका से केएनपी में लाये गये कुल 20 चीतों की संख्या अब घट कर 17 हो गई है। हालांकि, सियाया नाम के एक अन्य चीता ने हाल ही में केएनपी में चार शावकों को जन्म दिया।